बीजिंग: विस्तारवादी चीन (China) के लिए अमेरिका (America) के मौजूदा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप किसी बुरे सपने से कम नहीं रहे. अब उन्हें अमेरिका के नए राष्ट्रपति की गद्दी संभालने जा रहे ‘जो बाइडेन’ (Joe Biden) से भी खतरा नजर आ रहा है. चीन के एक बड़े थिंक टैंक का मानना है कि आने वाला बाइडेन प्रशासन चीन पर कई नए प्रतिबंध लगा सकता है. इससे अगले साल भी चीन की अर्थव्यवस्था प्रभावित हो सकती है.
जो बाइडेन (Joe Biden) प्रशासन के प्रति सतर्क रहे चीन- चीनी थिंक टैंक
चीन (China) के सेंट्रल बैंक के पूर्व सलाहकार रहे और वर्तमान मे Tsinghua यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर David Li Daokui ने साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट को दिए इंटरव्यू में चीन सरकार को आगाह किया कि जो बाइडेन (Joe Biden) भी ट्रंप की तरह चाइना के प्रति सख्त रूख अख्तियार कर सकते हैं. उन्होंने जो बाइडेन प्रशासन के खतरे गिनाते हुए कहा कि वे अमेरिका में ऐसी कई नीतियां लागू कर सकते हैं, जिनसे चीन के उद्योगों को सीधे तौर पर नुकसान पहुंचेगा.
‘चीन के लिए अगला साल चुनौतीपूर्ण रहने वाला है’
David Li Daokui ने कहा,’अगला साल चीन की विदेश नीति, उद्योग और कंपनियों के लिए चुनौती भरा रहने वाला है. हालांकि अच्छी बात ये है कि ट्रंप प्रशासन की तुलना में बाइडेन प्रशासन के साथ बात करना ज्यादा आसान रहेगा.’ उन्होंने चीन सरकार को आगाह करते हुए कहा कि डोनाल्ड ट्रंप का युग अभी गया नहीं है. वे अभी फिट हैं. ऐसे में वे 2024 में फिर से अमेरिका का राष्ट्रपति बनने की कोशिश कर सकते हैं.
David Li Daokui ने कहा कि चीन को अब यह भ्रम अपने दिमाग से निकाल देना चाहिए कि जो बाइडेन (Joe Biden) के प्रशासन के साथ वह संबंध बेहतर कर सकेगा. उन्होंने सरकार को सुझाव दिया कि उसे वॉशिंगटन के साथ कड़ाई से पेश आने के लिए खुद को तैयार करना चाहिए.
‘अमेरिका और चीन के अच्छे संबंध अब अतीत का हिस्सा’
चीन के Shenzhen प्रांत में Advanced Institute of Global and Contemporary China Studies के डीन
Zheng Yongnian ने कहा कि अमेरिका और चीन के अच्छे संबंधों के दिन अब जा चुके हैं. अमेरिका में चीन के साथ शीत युद्ध की तैयारी पिछले कई सालों से चल रही थी और यह स्थिति कोई रातों रात पैदा नहीं हुई है. फिर भी चीन की सरकार को अमेरिका के साथ संबंध सुधारने के लिए सभी कोशिश करनी चाहिए.
जो बाइडेन के सख्त रवैये से डरा हुआ है चीन
बता दें कि जो बाइडेन (Joe Biden) ने अमेरिका में चुनाव प्रचार के दौरान स्पष्ट रूप से घोषणा की थी कि वे चुनाव जीतने के बाद व्यापार और दक्षिण चीन सागर समेत तमाम मुद्दों पर चीन को अंतरराष्ट्रीय नियमों के पालन करने पर मजबूर करेंगे. उनकी इस घोषणा के बाद चीन के थिंक टैंक आशंका जता रहे हैं कि अमेरिका में सत्ता हस्तांतरण के बावजूद चीन के प्रति उसके रवैये में कोई खास बदलाव आने वाला नहीं है.
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