सच प्रतिनिधि ॥ भोपाल
भोपाल सहित सभी छोटे-बड़े शहरों में में पुलिस को स्मार्ट बनाने के लिए सीसीटीवी कैमरों की मदद ली जाएगी। कैमरे लगाने का काम पहले से ही जारी था। पिछलेे कुछ महीनों से कैमरें लगाने के लिए बजट की कमी महसूस की जा रही थी। कल पेश किए गए बजट में इस योजना को आगे बढ़ाते हुए और 147 करोड़ रुपए आवंटित कर दिए गए हैं। इस तरह से अगले एक साल में अपराधों की निगरानी व टै्रफिक मैनेजमेंट के मामले में पुलिस और अधिक स्मार्ट साबित होगी।
पूरे प्रदेश में सीसीटीवी कैमरों लगाए जा रहे हैं। कैमरों के जरिए अपराधों की निगरानी तो ही रही है साथ ही इनका सबसे ज्यादा उपयोग यातायात के प्रबंधन में किया जा रहा है। अभी तक 11 जिलों के मुख्यालयों पर कैमरे लग चुके हैं। प्रथम चरण में भोपाल, इन्दौर, जबलपुर, ग्वालियर, देवास, सागर, कटनी, सिंगरौली, खण्डवा, ओंकारेश्वर एवं उज्जैन सहित 11 शहरों के 832 स्थानों में सीसीटीव्ही आधारित सर्विलेंस सिस्टम स्थापित किया जा चुका है। सीसीटीवी योजना के दूसरे चरण में मध्यप्रदेश के 35 जिलों के 50 शहरों के 1161 स्थानों पर सीसीटीव्ही सिस्टम लगाया जा रहा है। कल विस में पेश किए गए बजट में प्रदेश के 61बड़े शहरों में हाई रिजोल्यूशन सीसीटीवी कैमरों के लिए 147 करोड़ रुपए दिए गए हैं। जिनमें वर्तमान सत्र 2018-19 में 50 शहरों में यह काम पूरा होने का भी दावा किया गया है, इसके अलावा पुलिस लाइन को आदर्श बनाने, पुलिसकर्मियों को रहने के लिए आवास योजना व पुलिसभर्ती के लिए भी बजट में राशि निर्धारित की है। बजट में सुरक्षा से जुड़े पहलुओं पर कुछ इस तरह राशि का निर्धारण किया गया है। मुख्यमंत्री पुलिस आवास योजना के तहत पुलिसकर्मियों को रहने के लिए आवास उपलब्ध कराने प्रदेश के लिए 240 करोड़ रुपए की राशि रखी गई है। जिसमें प्रदेश की सभी पुलिस लाइनों में नए आवास, महिला पुलिसकर्मियों की बढ़ती संख्या में उनके लिए पुलिस थानों के पास आवास निर्माण होने हैं। सीसीटीएनएस के लिए भी 17 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।
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